कुक्कुटासन के फायदे तरीका लाभ और नुकसान

꧁ Digital Diary ༒Largest Writing Community༒꧂


Meri Kalam Se Digital Diary Create a free account



मांसपेशियों को मजबूत बनाए कुकुटासन कुकुटासन के और फायदे भी जाने

कुक्कुटासन के फायदे, तरीका, लाभ और नुकसान

कुक्कुटासन योगासनों की खास मुद्राओं में से एक है, जो प्रमुख रूप से कंधों और पेट की मांसपेशियों को शक्ति प्रदान करता है। यह एक मध्यम श्रेणी का योगासन है, जिसका अभ्यास करने के लिए बल और संतुलन दोनों की आवश्यकता पड़ती है। कुक्कुटासन संस्कृत के दो शब्दों "कुक्कुट" व "आसन" से मिलकर बना है, जिसमें कुक्कुट का मतलब मुर्गा होता है। इस योग मुद्रा के दौरान शरीर की आकृति एक मुर्गे के समान ही प्रतीत होती है और इसलिए अंग्रेजी में भी इसे कॉकरेल पॉज और रोस्टर पॉज के नाम से जाना जाता है। कुक्कुटासन को सही तकनीक के साथ करना जरूरी है और ऐसा न करने पर चोट लगने का खतरा भी बढ़ सकता है।

 

कुक्कुटासन के फायदे

यदि कुक्कुटासन योग मुद्रा को सही तकनीक के साथ और विशेष बातों का ध्यान रखते हुए किया जाए तो इससे कई स्वास्थ्य लाभ मिल सकते हैं -

1. मांसपेशियों को मजबूत बनाए कुक्कुटासन

कुक्कुटासन से कंधों व बाहों की मांसपेशियों को शक्तिशाली बनाया जा सकता है, जिससे इन हिस्सों में दर्द होने का खतरा भी नहीं रहता है।

2. हृदय को स्वस्थ रखे कुक्कुटासन

नियमित रूप से कुक्कुटासन अभ्यास करने से रक्त संचार प्रक्रिया में सुधार होता है, जिससे हृदय को स्वस्थ रखने में मदद मिलती है।

3. कुक्कुटासन करे पाचन क्रिया में सुधार

कुक्कुटासन से पेट की मांसपेशियों में खिंचाव आता है, जिससे अंदरूनी अंग उत्तेजित होकर सक्रिय रूप से काम करते हैं।

4. चर्बी को कम करने में मदद करे कुक्कुटासन

नियमित रूप से कुक्कुटासन अभ्यास करने से पेट समेत शरीर के कई हिस्सों से चर्बी को दूर करने में मदद मिल सकती है।

 

हालांकि, कुक्कुटासन से प्राप्त होने वाले स्वास्थ्य लाभ प्रमुख रूप से योगासन के तरीके और अभ्यासकर्ता की स्वास्थ्य स्थिति पर निर्भर करते हैं।

कुक्कुटासन करने का तरीका

यदि आप पहली बार कुक्कुटासन अभ्यास करने जा रहे हैं, तो निम्न चरणों का पालन करके आपको यह योग मुद्रा बनाने में मदद मिल सकती है -

 

Step 1. सबसे पहले मैट बिछाकर पद्मासन मुद्रा में बैठ जाएं

Step 2. हाथों को पिंडली व जांघ के अंदर से निकालकर मैट पर दोनों हथेलियां रख लें

Step 3. इसके बाद एक-एक करके दोनों बाहों को अंदर करें और कोहनियों को जांघ व पिंडली के बीच में ले आएं

Step 4. दोनों हथेलियों में लगभग 4 इंच की दूरी रखें

Step 5. अब धीरे-धीरे आगे झुकते हुए शरीर का भार हथेलियों पर बढ़ाना शुरू करें

Step 6. संतुलन बनाते हुए कूल्हों को जमीन से उठा लें और शरीर का सारा वजन हाथों पर आने दें

इस योग मुद्रा को आप अपनी क्षमता के अनुसार जितनी देर तक चाहें कर सकते हैं और फिर इसके बाद धीरे-धीरे सामान्य अवस्था में आ जाएं। यदि आपके मन में कोई भी प्रश्न है, जो योग प्रशिक्षक से संपर्क करें।

कुक्कुटासन के दौरान सावधानियां

कुक्कुटासन अभ्यास आमतौर पर योग प्रशिक्षक के निगरानी में ही किया जाता है और इस दौरान निम्न सावधानियां बरतनी जरूरी होती हैं -

 

हाथ पर शरीर का संतुलन धीरे-धीरे बनाकर रखें

योगासन करने से पहले वार्मअप कर लें

सिर्फ क्षमता के अनुसार ही खिंचाव लाएं

शरीर में किसी भी प्रकार का झटका न लगने दें

Thank you 

 




Leave a comment

We are accepting Guest Posting on our website for all categories.


Comments